मिलावटी पनीर खिलाया तो खैर नहीं… रेस्तरां को बताना होगा, कौन-सा पनीर परोसा

IO_AdminUncategorized1 month ago35 Views

नई दिल्ली: मिलावटी पनीर की बढ़ती समस्या को देखते हुए उपभोक्ता मामलों का मंत्रालय रेस्तरां के लिए इस बारे में दिशानिर्देश जारी करने पर विचार कर रहा है। कंज्यूमर अफेयर्स सेक्रेटरी निधि खरे ने यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि रेस्तरां को यह बताना चाहिए कि वे जो खाना परोसते हैं, उसमें ‘एनालॉग पनीर’ होता है या परंपरागत तौर पर दूध से बनाया जाने वाला पनीर।

खरे ने कहा, ‘हम लोग आमतौर पर जो पनीर देखते आए हैं, एनालॉग पनीर उसी तरह दिखता है और उसका स्वाद भी लगभग वैसा ही होता है। हालांकि, वह परंपरागत पनीर की तरह तैयार नहीं किया जाता। वह सस्ता भी पड़ता है। रेस्तरां को बताना चाहिए कि वे उपभोक्ताओं को किस पनीर के व्यंजन परोस रहे हैं।’
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क्या है दोनों में अंतर?

एनालॉग पनीर मुख्य रूप से मिल्क पाउडर, स्टार्च, पाम ऑयल और इमल्सिफायर्स जैसी चीजों को मिलाकर बनाया जाता है। फूड सेफ्टी ऐंड स्टैंडर्ड्स अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने कंपनियों को एनालॉग पनीर बेचने की इजाजत तो दी है, लेकिन यह बताना अनिवार्य किया है कि वे एनालॉग पनीर बेच रही हैं या परंपरागत पनीर। वहीं पारंपरिक पनीर दूध से तैयार किया जाता है। कंज्यूमर अफेयर्स मिनिस्ट्री स्वास्थ्य मंत्रालय के तहत आने वाले FSSAI से मानकों के बारे में बात कर रही है, जिससे रेस्तरां के लिए भी दिशानिर्देश तैयार किया जा सके।

देशभर से आई शिकायतें

इससे पहले इसी महीने कंज्यूमर अफेयर्स मिनिस्टर प्रह्लाद जोशी ने नकली पनीर की बिक्री के मामले में स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री जेपी नड्डा से कार्रवाई करने का अनुरोध किया था। जोशी ने नड्डा को एक पत्र में लिखा था, ‘देशभर में फूड जॉइंट्स, रेस्तरां और बाजारों में नकली और मिलावटी पनीर बेचे जाने के मामले बढ़ रहे हैं। इन मामलों से खाद्य पदार्थ की क्वॉलिटी और सेफ्टी के बारे में लोगों की चिंता बढ़ रही है।’

जोशी ने लिखा था, ‘नेशनल कंस्यूमर हेल्पलाइन पोर्टल पर उपभोक्ताओं ने इस मामले में कई शिकायतें दर्ज कराई हैं, जिनसे देशभर में नकली और मिलावटी पनीर बेचे जाने के बढ़ते ट्रेंड का पता चल रहा है। ऐसे नकली और मिलावटी खाद्य पदार्थों के सेवन से सेहत को गंभीर नुकसान हो सकता है।’ उन्होंने लिखा था, ‘फूड सेफ्टी स्टैंडर्ड्स के मामले फूड सेफ्टी एंड स्टैंडर्ड्स एक्ट 2006 के तहत आते हैं, इसलिए मैं आपसे जरूरी कदम उठाने का अनुरोध कर रहा हूं, जिससे देशभर में फूड सेफ्टी स्टैंडर्ड्स का पालन हो।’

राजेश भारती

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राजेश भारती

राजेश भारती, नवभारतटाइम्स ऑनलाइन में असिस्टेंट न्यूज़ एडिटर के तौर पर बिजनेस की खबरों को कवर करते हैं। उन्हें पत्रकारिता में करीब 15 वर्षों का अनुभव है। इससे पहले वह नवभारत टाइम्स अखबार में 5 साल से ज्यादा काम कर चुके हैं। वहां राजेश भारती ने विभिन्न विषयों जैसे- पर्सनल फाइनेंस, इंश्योरेंस, शेयर मार्केट, टेक, गैजेट्स, हेल्थ, एजुकेशन आदि पर फीचर स्टोरी लिखी हैं। नवभारत टाइम्स अखबार में काम करने से पहले इन्होंने दैनिक भास्कर, लोकमत जैसे अखबारों में रिपोर्टिंग और डेस्क, दोनों जगह काम किया है। राजेश भारती को ऑनलाइन के साथ प्रिंट का भी अनुभव है। वह भोपाल, इंदौर, औरंगाबाद (महाराष्ट्र) और रायपुर में काम कर चुके हैं। औरंगाबाद (महाराष्ट्र) में ऑल इंडिया रेडियो के लिए भी काम किया है।… और पढ़ें

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